Best Opportunities : इंजीनियरिंग और पॉलिटेक्निक संस्थानों में 5000+ पदों पर जल्द होगी भर्ती |

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Best Opportunities : इंजीनियरिंग और पॉलिटेक्निक संस्थानों में 5000+ पदों पर जल्द होगी भर्ती |

Best Opportunities : बिहार के इंजीनियरिंग और पॉलिटेक्निक संस्थानों में 5554 पदों पर जल्द होगी नियुक्ति

बिहार के विज्ञान और प्रौद्योगिकी विभाग ने राज्य के इंजीनियरिंग और पॉलिटेक्निक संस्थानों में रिक्त 5554 पदों पर जल्द बहाली की दिशा में कदम बढ़ा दिए हैं। इनमें सहायक प्रध्यापक, प्राचार्य, व्याख्याता, और अन्य शैक्षणिकथा गैर-शैक्षणिक पद शामिल हैं। रिक्तियों को आयोगों तक भेजने और रोस्टर क्लियरेंस की प्रक्रिया तेजी से पूरी की जा रही है। विभाग का लक्ष्य है कि इसी वित्तीय वर्ष के अंत तक इन पदों पर नियुक्ति प्रक्रिया पूरी हो जाए।

Best Opportunities : इंजीनियरिंग और पॉलिटेक्निक संस्थानों की स्थिति
बिहार में कुल 38 इंजीनियरिंग कॉलेज और 46 पॉलिटेक्निक संस्थान हैं। इनमें शिक्षकों और कर्मचारियों की भारी कमी है, जिसे दूर करने के लिए यह प्रक्रिया शुरू की गई है। कुल 5554 पदों में से 2729 पद सामान्य प्रशासन विभाग द्वारा संबंधित आयोगों को पहले ही भेजे जा चुके हैं। शेष 2825 पदों को रोस्टर क्लियरेंस के बाद आयोगों को भेजा जाएगा।

Best Opportunities : इंजीनियरिंग कॉलेजों में रिक्त पदों का विवरण
इंजीनियरिंग कॉलेजों में कुल 1545 पदों पर बहाली होनी है। इनमें शामिल हैं:

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प्राचार्य : 26 पद
प्राध्यापक : 241 पद
सह प्राध्यापक : 594 पद
सहायक प्राध्यापक : 684 पद
अब तक प्राध्यापक और सहायक प्राध्यापक के 40-40, कुल 80 पदों की रिक्ति बिहार लोक सेवा आयोग (BPSC) को भेजी जा चुकी है। शेष 1465 पदों को भी जल्द ही सामान्य प्रशासन विभाग के माध्यम से BPSC को भेजा जाएगा।

Best Opportunities : पॉलिटेक्निक संस्थानों में रिक्त पदों का विवरण
पॉलिटेक्निक संस्थानों में शिक्षकों के 1149 पदों पर नियुक्ति होनी है। इनमें शामिल हैं:
प्राचार्य : 30 पद
विभागाध्यक्ष : 229 पद
व्याख्याता : 890 पद
इसके अतिरिक्त प्रयोगशाला सहायक और अनुदेशक के 1816 पदों की रिक्तियां बिहार तकनीकी सेवा आयोग (BTSC) को भेजी जा चुकी हैं।

गैर-शैक्षणिक पदों पर भी होगी बहाली
शैक्षणिक पदों के साथ-साथ गैर-शैक्षणिक पदों पर भी नियुक्ति की प्रक्रिया शुरू हो गई है। सहायक पुस्तकालयाध्यक्ष, आशुलिपिक, निम्न वर्गीय लिपिक, कार्यालय परिचारी, और चालक के कुल 1044 पदों पर बहाली होनी है। इनमें से 827 पदों की रिक्तियां बिहार कर्मचारी चयन आयोग (BSSC) को भेज दी गई हैं।

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Best Opportunities : बहाली प्रक्रिया में तेजी
विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्री सुमित कुमार सिंह ने जानकारी दी है कि इंजीनियरिंग और पॉलिटेक्निक संस्थानों में रिक्त पदों पर नियुक्ति प्रक्रिया को प्राथमिकता दी जा रही है। अधिकांश पदों की रिक्तियां संबंधित आयोगों को भेजी जा चुकी हैं और शेष पदों के लिए भी रोस्टर क्लियरेंस का कार्य तेजी से पूरा किया जा रहा है।

नियुक्ति प्रक्रिया का महत्व
राज्य के इंजीनियरिंग और पॉलिटेक्निक संस्थानों में शिक्षकों और अन्य कर्मचारियों की कमी लंबे समय से एक बड़ी समस्या रही है। इससे न केवल शैक्षणिक गुणवत्ता पर असर पड़ता है, बल्कि छात्रों की पढ़ाई भी बाधित होती है। इन नियुक्तियों से:
शैक्षणिक गुणवत्ता में सुधार : पर्याप्त संख्या में शिक्षकों की नियुक्ति से पढ़ाई का स्तर बेहतर होगा।
छात्र-शिक्षक अनुपात में सुधार : छात्रों को विषय विशेषज्ञों से सही मार्गदर्शन मिलेगा।
संस्थानों की कार्यक्षमता बढ़ेगी : गैर-शैक्षणिक पदों पर बहाली से प्रशासनिक कार्यों में तेजी आएगी।

Best Opportunities : आयोगों की भूमिका
इन रिक्तियों को भरने के लिए बिहार लोक सेवा आयोग (BPSC), बिहार कर्मचारी चयन आयोग (BSSC), और बिहार तकनीकी सेवा आयोग (BTSC) की भूमिका महत्वपूर्ण है।
BPSC : इंजीनियरिंग कॉलेजों के शिक्षकों की बहाली करेगा।
BTSC : पॉलिटेक्निक संस्थानों के शिक्षकों और तकनीकी पदों पर नियुक्ति करेगा।
BSSC : गैर-शैक्षणिक पदों पर बहाली करेगा।

कार्य पूरा करने की समय सीमा
विज्ञान और प्रौद्योगिकी विभाग का लक्ष्य है कि इस वित्तीय वर्ष के अंत तक नियुक्ति प्रक्रिया पूरी कर ली जाए। यह समय सीमा इसलिए भी महत्वपूर्ण है क्योंकि इससे न केवल संस्थानों की कार्यक्षमता में सुधार होगा, बल्कि छात्रों की शैक्षणिक आवश्यकताओं को भी पूरा किया जा सकेगा।

आगे की योजनाएं
राज्य सरकार भविष्य में इंजीनियरिंग और पॉलिटेक्निक संस्थानों को और मजबूत करने की योजना बना रही है।

निष्कर्ष
बिहार के इंजीनियरिंग और पॉलिटेक्निक संस्थानों में 5554 रिक्त पदों पर बहाली राज्य के शिक्षा और तकनीकी क्षेत्र में एक बड़ा कदम है। इससे न केवल शैक्षणिक संस्थानों की कार्यक्षमता में सुधार होगा, बल्कि छात्रों को भी गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्राप्त करने का अवसर मिलेगा। सरकार की यह पहल राज्य के शिक्षा तंत्र को मजबूत करने और तकनीकी शिक्षा में सुधार लाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण प्रयास है।

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